गोरख नाथ जी की आरती लिरिक्स | Gorakhnath Ji Aarti Lyrics In Hindi
यहाँ – Gorakhnath Ji Aarti Lyrics, गोरख नाथ जी की आरती लिरिक्स दिया गया है-
भजन - गोरख नाथ जी की आरती लिरिक्स
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
शीश जटा अति सुंदर,
भाल चन्द्र सोहे,
बाबा, भाल चन्द्र सोहे,
कानन कुंडल झलकत,
कानन कुंडल झलकत,
निरखत मन मोहै,
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
गले में नाग सुशोभित,
तन भस्मी धारी,
स्वामी, तन भस्मी धारी,
आदि पुरुष योगीश्वर,
आदि पुरुष योगीश्वर,
संतन हितकारी,
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
नाथ निरंजन आप ही,
घट घट के वासी,
बाबा, घट घट के वासी,
करत कृपा निज जन पर,
करत कृपा निज जन पर,
मेटत यम फांसी,
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
रिद्धी सिद्धि चरणों में लौटत,
माया है दासी,
स्वामी, माया है दासी,
आप अलख अवधूता,
आप अलख़ अवधूता,
उतराखंड वासी
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
अगम अगोचर अकथ अरुपी,
सबसे हो न्यारे,
बाबा सबसे हो न्यारे,
योगीजन के आप ही,
सदा हो रखवारे,
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
ब्रह्मा विष्णु तुम्हारा,
निशदिन गुण गावे,
नारद शारद सुर मिल,
चरनन चित्त लावे,
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
चारों युग में आप विराजत,
योगी तन धारी ||
सतयुग द्वापर त्रेता,
कलयुग भय टारी,
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||
गुरु गोरख नाथ की आरती,
निशदिन जो गावै,
स्वामी, निशदिन जो गावै,
विनवित बाल त्रिलोकी,
मुक्ति फल पावे,
जय जय गोरख देवा,
जय गोरख देवा,
जय जय गोरख देवा,
कर कृपा मम ऊपर,
नित्य करूँ सेवा,
जय जय गोरक्ष देवा ||